इस विशेष दिन पर पवित्र स्नान, दान और पूजा-पाठ से भी भक्तों को विशेष मिलता है लाभ..

 05 जनवरी 2023 के दिन माघ पूर्णिमा व्रत रखा जाएगा। इस विशेष दिन पर माता लक्ष्मी की आराधना का विधान है। शास्त्रों में बताया गया है कि माघ पूर्णिमा के दिन साधकों को कुछ विशेष नियमों का पालन करना चाहिए।

 माघ मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि के दिन माघ पूर्णिमा व्रत रखा जाता है। पूर्णिमा तिथि को हिन्दू महीने का अंतिम दिन भी कहा जाता है। हिन्दू पंचांग के अनुसार माघ शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि 05 फरवरी 2023, रविवार के दिन है। बता दें कि माघ पूर्णिमा व्रत के दिन माता लक्ष्मी की उपासना की जाती है। इस विशेष दिन पर पवित्र स्नान, दान और पूजा-पाठ से भी भक्तों को विशेष लाभ मिलता है और जीवन में आ रही सभी समस्याएं दूर हो जाती हैं। इस दिन साधकों को कुछ विशेष नियमों का पालन करना चाहिए। जिनके कारण वह माता लक्ष्मी का आशीर्वाद प्राप्त कर सकते हैं। आइए जानते हैं माघ पूर्णिमा तिथि के कुछ विशेष नियम।

माघ पूर्णिमा शुभ मुहूर्त

हिन्दू पंचांग के अनुसार माघ शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि 04 फरवरी 2023 को शाम 07 बजकर 59 मिनट से आरंभ होगी और इस तिथि का समापन 05 फरवरी 2023 रात्रि 10 बजकर 28 मिनट पर होगा। इस दिन सर्वार्थ सिद्धि योग और रवि पुष्य योग सुबह 05 बजकर 56 मिनट से सुबह 10 बजकर 43 मिनट तक रहेगा

माघ पूर्णिमा के नियम

  • माघ मास की पूर्णिमा के दिन किसी के प्रति मन हीन भावना उत्पन्न न होने दें। ऐसा करना साधक के लिए नुकसानदायक हो सकती है और माता लक्ष्मी नाराज हो सकती हैं।
  • माघ पूर्णिमा के दिन काले रंग का वस्त्र धारण न करें। ऐसा करने से नकारात्मक उर्जा में वृद्धि होती है और जीवन में कई समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं।
  • पूर्णिमा तिथि के दिन देर तक न सोएं। ऐसा करना दुर्भाग्य को पास बुलाने के समान है। साथ ही इस बात का ध्यान रखें कि घर में किसी भी प्रकार की गंदगी न हो।
  • माघ पूर्णिमा व्रत के दिन बाल, दाढ़ी या नाखून कटवाना वर्जित है। इससे माता लक्ष्मी क्रोधित हो सकती हैं और व्यक्ति के जीवन में धन संबंधित समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं।

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