भाजपा ने त्रिपुरा में अपने चुनाव अभियान की शुरुआत कर दी है। पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने अमरपुर में एक जनसभा की। जनसभा के बाद नड्डा चुनाव में पार्टी की रणनीति को लेकर नेताओं के साथ बैठक करेंगे।
उत्तर पूर्वी राज्य त्रिपुरा में विधानसभा चुनाव की उल्टी गिनती शुरू हो गई है। भाजपा, कांग्रेस और लेफ्ट जैसे प्रमुख दलों के अलावा अन्य राजनीतिक पार्टियां भी चुनाव की तैयारी में जुट गई हैं।भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा त्रिपुरा में जनसभाएं कर रहे हैं। नड्डा ने शुक्रवार को अमरपुर में एक रैली की। इस दौरान उन्होंने विरोधी दलों पर जमकर वार किया।
त्रिपुरा की तस्वीर, तकदीर बदली
नड्डा ने कहा कि भाजपा की ‘डबल इंजन’ सरकार ने त्रिपुरा की तस्वीर और तकदीर को बदल डाला है। ये बदला हुआ त्रिपुरा है। प्रधानमंत्री जी को पूर्वोत्तर भारत की विशेष चिंता है और हम इस क्षेत्र के विकास हेतु प्रतिबद्ध हैं। इस रैली में भारी संख्या में आपका जुटना ये संदेश दे रहा है कि त्रिपुरा विकास के पथ पर आगे बढ़ चुका है और अब ये नहीं रुकेगा।
आकाक्षांओं का देश बना भारत
नड्डा ने विरोधियों पर हमला करते हुए कहा कि आज से 9 साल पहले भारत कैसा था? घुटने टेकने वाला भारत था, फैसला नहीं ले सकने वाला भारत था, भ्रष्टाचार करने वाले देशों में शुमार था, जहां आए दिन घोटाले होते रहते थे। मोदी जी के नेतृत्व में बीते 9 साल में भारत आकांक्षाओं का देश बन गया, छलांग लगाने वाला देश बन गया और दुनिया में खुद को स्थापित करने वाला मजबूत राष्ट्र बन गया।
विजय संकल्प यात्रा की शुरुआत
नड्डा ने अमरपुर से विजय संकल्प यात्रा की शुरुआत की। इसके साथ ही पार्टी का चुनाव अभियान आज शुरू हो गया है। नड्डा आगामी चुनावों के लिए पार्टी की रणनीति को अंतिम रूप देने के लिए राज्य के शीर्ष नेताओं की बैठक भी करेंगे।
सीएम ने किया डोर-टू-डोर कैंपेन
इससे पहले, राज्य के सीएम माणिक साहा ने गुरुवार को राजधानी अगरतला में घर-घर जाकर प्रचार जाकर किया। इस दौरान साहा ने कहा, “जनता की भलाई के लिए राज्य में केंद्र सरकार की कई परियोजनाओं और योजनाओं को लागू किया गया है। जनता को इन योजनाओं का लाभ भी मिला है। हमें उम्मीद है कि वे फिर से भाजपा के पक्ष में मतदान करेंगे।”
2018 में भाजपा ने ढहाया लेफ्ट का किला
गौरतलब है कि भाजपा ने 2018 के विधानसभा चुनाव में लेफ्ट का 25 साल पुराना किला ढहा दिया था। साल 2018 में त्रिपुरा की 60 सीटों में से 59 सीटों पर चुनाव कराए गए थे। भाजपा ने जीत का परचम लहराते हुए 35 सीटों पर जीत दर्ज की, जबकि सीपीएम सिर्फ 16 सीटों पर ही सिमट गई। भाजपा की सहयोगी पार्टी इंडिजिनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ त्रिपुरा (आईपीएफटी) ने 8 सीटों पर जीत हासिल की थी।
16 फरवरी को चुनाव
बता दें कि त्रिपुरा में 16 फरवरी को एक ही चरण में विधानसभा चुनाव होगा। 2 मार्च को नतीजो का एलान किया जाएगा। दो मार्च को ही नगालैंड और मेघालय विधानसभा चुनाव के नतीजे भी घोषित होंगे।