हल्द्वानी जेल में साल दर साल एचआईवी संक्रमित कैदियों की संख्या बढ़ रही है। वर्तमान में 40 अंडर ट्रायल कैदी एचआईवी पाजिटिव हैं। वहीं अब अल्मोड़ा जेल में एक कैदी के संक्रमित मिलने पर हल्द्वानी जेल प्रशासन अलर्ट हो गया है।
हल्द्वानी जेल में वर्तमान में दो महिलाएं और 38 पुरुष विचाराधीन कैदी एचआईवी संक्रमित हैं। जेल प्रशासन के अनुसार बंदियों के उपकारागार में पहुंचने से पहले नियमानुसार उनकी जांच कराई जाती है। संक्रमित मिलने वाले कैदियों के उपचार और दवायइयों आदि की व्यवस्था की जाती है.
हल्द्वानी जेल में क्षमता से तीन गुना अधिक कैदी
हल्द्वानी उपकारागार में वर्तमाल में 1700 से अधिक बंदी और कैदी हैं। यह संख्या क्षमता से तीन गुना अधिक है। कोर्ट के आदेश और सामाजिक कार्यकर्ताओं के आदेश के बावजूद जेल में कैदियों की संख्या कम होने की बजाए बढ़ती जा रही है।
बंदियों के संक्रमित होने की ये है वजह
जेल प्रशासन के अनुसार अधिकांश बंदियों के संक्रमित होने की वजह नशीले इंजेक्शन है। एक ही नशीले इंजेक्शन का बार-बार इस्तेमाल करने पर एचआइवी संक्रमित होने का खतरा रहता है। नशीले इंजेक्शन से दूर रहना इसका बचाव है। ज्यादातर कैदी एनडीपीएस एक्ट में निरुद्ध हैं।
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