चीन के शीर्ष स्वास्थ्य अधिकारियों का मानना है कि देश इस सर्दी में कोविड-19की तीन संभावित लहरों में से पहली लहर का सामना कर रहा है।कोरोना वायरस के केसों में तीसरा उछाल फरवरी के अंत से मार्च के मध्य तक चलेगा क्योंकि लोग छुट्टी बिताने के बाद काम पर लौटेंगे।
चीन के एक शीर्ष स्वास्थ्य अधिकारी ने कहा है कि उनका मानना है कि देश इस सर्दी में कोविड-19 की तीन संभावित लहरों में से पहली लहर का सामना कर रहा है। ताजा आधिकारिक आंकड़े हालांकि नए रोजाना मामलों की तुलना में कम संख्या दिखाते हैं। बीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, ऐसी चिंताएं हैं कि हाल ही में कोविड टेस्ट में कमी के कारण ये संख्या कम आंकी गई है। सरकारी रिपोर्ट के अनुसार, चीन में रविवार को 2,097 नए मामले दर्ज किए गए।
महामारी विज्ञानी वू जुन्यो ने कहा कि उनका मानना है कि संक्रमण दर में मौजूदा इजाफा जनवरी के मध्य तक चलेगा, जबकि दूसरी लहर के जनवरी के अंत तक तेज हो जाने की संभाना है।
बीबीसी के मुताबिक, आमतौर पर लाखों लोग परिवार के साथ छुट्टियां बिताने के लिए इस समय यात्रा करते हैं।
जुन्यो ने आगे कहा कि कोरोना वायरस के केसों में तीसरा उछाल फरवरी के अंत से मार्च के मध्य तक चलेगा, क्योंकि लोग छुट्टी बिताने के बाद काम पर लौटेंगे। उनका कहा है कि टीकाकरण के कारण गंभीर मामलों की संख्या में कमी आई है। हालांकि, 80 और उससे अधिक आयु के आधे से भी कम लोगों को टीके की तीन खुराकें मिली हैं। बुजुर्ग लोगों में कोविड के गंभीर लक्षण होने की संभावना अधिक होती है।
चीन में 2023 में दस लाख से अधिक लोगों की हो सकती है मौत
बीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, महामारी विज्ञानी वू जुन्यो की यह टिप्पणी अमेरिका के एक प्रतिष्ठित शोध संस्थान द्वारा इस सप्ताह की शुरुआत में रिपोर्ट किए जाने के बाद आई है, जिसमें कहा गया था कि चीन का मानना है कि 2023 में कोविड के मामलों में विस्फोट के बाद चीन में दस लाख से अधिक लोगों की मौत हो सकती है।
सरकार ने आधिकारिक तौर पर 7 दिसंबर के बाद से किसी भी कोविड से मौत होने की जानकारी नहीं दी है। जब उसकी शून्य-कोविड नीति के खिलाफ बड़े पैमाने पर विरोध के बाद प्रतिबंध हटा दिए गए थे। हालांकि, बीजिंग में दिखाई देने वाली कोविड से जुड़ी मौतों की वास्तविक रिपोर्टे हैं।
स्वास्थ्य और खानपान की सेवाओं पर बुरा असर
सरकार ने आधिकारिक तौर पर 7 दिसंबर के बाद से किसी भी कोविड से मौत की सूचना नहीं दी है, जब उसकी शून्य-कोविड नीति के खिलाफ बड़े पैमाने पर विरोध के बाद प्रतिबंध हटा दिए गए थे। इसमें सामूहिक जांच को खत्म किया जाना भी शामिल था। हालांकि, बीजिंग में दिखाई देने वाली कोविड से जुड़ी मौतों की वास्तविक रिपोर्टें कुछ और बताती हैं।
बीजिंग समेत दूसरे शहरों में अस्पतालों में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। इसके चलते वहां मौजूद अस्पतालों को काफी संघर्ष करना पड़ रहा है। कोरोना संक्रमण मरीजों की बढ़ती संख्या की वजह से वहां स्वास्थ्य सुविधाओं और खानपास की सेवाओं पर इसका प्रभाव पड़ने लगा है। इस बीच, चीन के सबसे बड़े शहर शंघाई ने अपने ज्यादातर स्कूलों को मामले बढ़ने की वजह ऑनलाइन क्लास लेने का निर्देश दिया है।