ऑनलाइन पेमेंट का तरीका आसान माना जाता है, यही वजह है कि पेमेंट के लिए हर कोई इसी तरीके का इस्तेमाल करते हैं। कई बार जेब में कैश मौजूद नहीं होता उन स्थितियों में अगर आपका स्मार्टफोन आपके पास है तो आसानी से बैंक ट्रांसफर हाथों हाथ कर सकते हैं।
पेमेंट के इस तरीके में समय की भी बचत होती है, क्योंकि आपको कैश की तरह पेमेंट के लिए अमाउंट गिनने की जरूरत नहीं होती। झट से स्क्रीन पर अमाउंट नजर आने पर पर बैंक या ऐप के वॉलेट मनी से उतना ही अमाउंट ट्रांसफर हो जाता है यानी पैसे ज्यादा तो नहीं दे दिए जैसी बातें भी आपको परेशान नहीं करती।ऑनलाइन पेमेंट करने के बहुत से तरीके हैं। अगर आप किसी दूसरे शख्स को एक बड़ी राशि ट्रांसफर कर रहे हैं तो इसके लिए बैंक डिटेल्स को दर्ज करने की जरूरत होती है।
वहीं किसी शख्स को मोबाइल नंबर के जरिए भी पैसे ट्रांसफर करने की सुविधा मिलती है। तीसरा तरीका क्यू आर कोड स्कैन करने का होता है, जिसमें सबसे ज्यादा सावधानी बरतने की जरूरत होती है। देश में क्यूआर कोड के जरिए ठगी के कई मामले सामने आते हैं, ऐसे में आपको कुछ जरूरी बातों का ध्यान रखना चाहिए।
क्यूआर कोड से ऐसे हो सकता है साइबर फ्रॉड
साइबर फ्रॉड के लिए जालसाज अलग- अलग तरीके अपनाते हैं। कई बार किसी दुकानदार की नजर बचाकर फ्रॉड करने वाला शख्स दुकान के बाहर अपना क्यूआर कोड लगा देता है। ऐसे में दुकानदार के ग्राहक अनजाने में गलत शख्स को पेमेंट कर देते हैं। ऑनलाइन तरीकों में एक बार आप क्यूआर कोड को स्कैन कर लेते हैं तो आपके खाते की जानकारी लीक हो जाती, इससे सेकंडों में अकाउंट खाली हो सकता है।
क्यूआर कोड स्कैन करते समय भूलकर भी ना करें ये काम
- अगर आप किसी दुकानदार को पेमेंट के लिए क्यूआर कोड स्कैन कर रहे हैं तो, पहले दुकानदार से सही क्यूआर कोड के बारे में पूछ लें।
- क्यूआर कोड स्कैन करने के बाद आपकी स्क्रीन पर दिखाई दे रही जानकारी को दुकानदारी से चेक करवा लें।
- अगर दूर बैठे शख्स को पेमेंट के लिए क्यूआर कोड स्कैन कर रहे हैं तो पेमेंट के लिए दूसरे तरीके को ही चुनें।
- ऑनलाइन मिले किसी भी ऑफर के लालच में क्यूआर कोड को स्कैन करने से बचें।