आप गैस एजेंसी खोलकर अपना कारोबार शुरू कर सकते हैं। ग्रामीण इलाकों में गैस एजेंसी खोलने के लिए 10 लाख रुपये और शहरी इलाकों के लिए 15 लाख रुपये के निवेश की आवश्यकता होती है।
मोदी सरकार का जोर भारत को गैस आधारित अर्थव्यवस्था बनाने पर है। इसके लिए सरकार तेजी से गैस कनेक्शन बांट और एलपीजी नेटवर्क का विस्तार कर रही है। ऐसे में बड़ी संख्या में गैस एजेंसियां भी तेल वितरक कंपनियों की ओर से बांटी जाती हैं और आप भी ये गैस एजेंसी ले सकते हैं। गैस एजेंसी लेने का पूरा प्रोसेस ऑनलाइन है और इसके लिए कुछ नियम और कानून सरकार की ओर से बनाए गए हैं। अगर आप इन नियमों और शर्तों को पूरा करते हैं तो फिर आपको गैस एजेंसी मिल जाती है।
चार प्रकार होती हैं गैस एजेंसियां
तेल वितरक कंपनियां चार प्रकार की(शहरी वितरक, रूर्बन वितरक, ग्रामीण वितरक और दुर्गम इलाकों के लिए वितरक) देती हैं। आपके क्षेत्र के अनुसार की गैंस एजेंसी मिलती है। शहरी वितरक के अंतर्गत शहरी इलाकों में गैस एजेंसी उपलब्ध कराई जाती है।
रूर्बन वितरक शहरी इलाकों के साथ आस-पास के गांव में गैस की सुविधा उपलब्ध कराता है। ग्रामीण वितरक के तहत गांव में एलपीजी वितरण के गैस एजेंसी दी जाती है। वहीं, दुर्गम इलाकों के लिए वितरक में उन इलाकों के लिए गैस एजेंसी दी जाती है। जहां ग्रामीण और रूर्बन वितरक सेवाएं नहीं दे पाते हैं।
LPG गैस एजेंसी की पात्रता
कैसे कर सकते हैं आवेदन
ओर से समय-समय पर अखबारों और www.lpgvitarakchayan.in/ पर गैस एजेंसी का नोटिफिकेशन जारी किया जाता है। इसके बाद वेबसाइट पर गैस एजेंसी लेने के लिए पंजीकरण कराना होता है। इसके बाद आपको इंटरव्यू के लिए बुलाया जाता है और चयन होने के बाद कंपनी आपसे एजेंसी के लिए जरूरी दस्तावेज जमा कराने होते हैं। फिर इसके बाद वेरिफिकेशन किया जाता है और आपकी एजेंसी एप्रूव की जाती है। फिर सिक्योरिटी जमा कराने के बाद आपको गैस एजेंसी मिल जाती है।
कितना आता है खर्च
किसी भी गैस एजेंसी को लेने में आमतौर पर ग्रामीण इलाकों के लिए 10 लाख रुपये और शहरी इलाकों के लिए 15 लाख का खर्च आता है।